इस जानवर के दूध में होता है 'शराब का नशा', इंसानों के लिए माना जाता है खतरनाक, ये है वजह
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<पी शैली ="टेक्स्ट-एलाइन: जस्टिफ़ाई करें;">भारत के अधिकांश घरों में दूध के लिए एक विशेष स्थान होता है। शायद ही ऐसा कोई व्यक्ति होगा, जिसने आज तक कभी दूध को हाथ न लगाया हो। हम दुनिया में सबसे पहले अपनी मां का दूध पीते हैं। जैसे-जैसे बच्चे बड़े होते हैं, उन्हें गाय और भैंस का दूध पिलाया जाता है। भारत में ज्यादातर लोग गाय या फिर भैंस का ही दूध पीते हैं। क्योंकि इसमें जरूरी तत्व भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। हालांकि कुछ ऐसे लोग भी होते हैं, जिन्हें बकरी का दूध ज्यादा पसंद आता है। इन सभी के दूध में गड़बड़ी पाई जाती है। मगर क्या आप जानते हैं कि एक ऐसा जानवर भी है, जिसका दूध पीने से आप शराब से भी ज्यादा शराब पी सकते हैं? भले ही आप हमारी बात पर यकीन ना हो रहा हो, लेकिन यह सच है। 

दरअसल जिस का दूध पीकर शराब जैसा नशा चढ़ता है, वो जानवर और कोई मादा हाथी या हथिनी नहीं है। जी हां हथिनी। जानकारी के मुताबिक, हथिनी के दूध में 60 साल तक मोटी शराब पाई गई है। कई रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि हाथी को गन्ने का रस या गन्ना बहुत ज्यादा पसंद है। इसलिए वे इसे बहुत पसंद करते हैं। चूंकी गन्ने में ऐसे कई सारे तत्व पाए गए हैं, एक पहिए। यही कारण है कि हथिनी के दूध में तनाव होता है, जिसे पीने से मोटापा होता है। 

इंसानों के लिए खतरनाक है ये दूध!

कुछ शोधकर्ता यह भी मानते हैं कि हथिनी का दूध इंसानों के लिए खतरनाक होता है या नहीं ठीक नहीं होता है। ऐसा इसलिए क्योंकि हथिनी के दूध में जिस तरह के रसायन पाए जाते हैं, वो इंसानों को अलग-अलग तरीके से बीमार कर सकते हैं या उन्हें नुकसान पहुंचा सकते हैं। दरअसल, दूध में प्रोटीन के साथ-साथ वसा भी बहुत अधिक मात्रा में पाया जाता है, जिसे पचाने के लिए लोगों के लिए काफी मुश्किल साबित हो सकता है। अगर वो इसे पचाने की कोशिश भी करता है, तो भी पाचन तंत्र को नुकसान पहुंचाने का खतरा रहता है।

हथिनी के दूध में होता है शराब की मौजूदगी

मौसम के साथ मां हाथी के दूध में प्रोटीन की मात्रा बढ़ती जाती है। एक सामान्य हाथी एक दिन में लगभग 150 किलो खाना खाता है। आपको यह जानकर हैरानी होगी कि हर दिन 12-18 घंटे तक हाथी के कुछ न कुछ फायदे ही रहते हैं। कई रिपोर्ट्स में हथिनी के दूध में शराब की मौजूदगी को सही बताया गया है। जबकि कई रिसर्च रिपोर्ट्स ने इस बात को खारिज भी किया है। ऐसे में इस दावे में कितना सच है, इसके बारे में कुछ भी नहीं कहा जा सकता है।

अस्वीकरण: इस लेख में बताई गई विधि, तरीके और सलाह पर अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित विशेषज्ञ की सलाह अवश्य लें।

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Umesh Solanki

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