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अकबर बीरबल के किस्से हिंदी में: अकबर-बीरबल के किस्से-कहानियों में बीरबल की चतुराई और बुद्धि का पता चलता है। चतुराई और बुद्धि के गुण तो कई लोगों में होते हैं। लेकिन इसका सही समय पर प्रयोग करने को लेकर बीरबल बहुत प्रसिद्ध थे।

बीरबल अकबर के बहुत ही खास थे. उन्होंने अकबर के ऊपर सभी संभावितों का हल कर दिया था। लेकिन केवल असल जिंदगी ही नहीं बल्कि अकबर के सपनों की समस्याओं का हल भी बीरबल के पास हुआ था। बीरबल के किस्से में आज आपको ऐसे ही किस्से के बारे में बताया गया है, जो अकबर के अजीब सपने से जुड़ा है। साथ ही इस कहानी से आप यह भी सीख सकते हैं कि, किसी भी बात को देखने का तरीका अगर सही हो तो बात किसी से सही लगती है।

बीरबल के किस्से: बादशाह अकबर का संदेह

एक बार के बादशाह अकबर की नींद अचानक गायब हो गई। क्योंकि उन्होंने एक अजीब-सा सपना देखा था. इस सपने का कारण वो फिर रातभर सो नहीं सके। वो बहुत बचन थे क्योंकि वह इस सपने का मतलब नहीं समझ पा रहे थे। अकबर ने सपने में दांत देखा कि, एक के बाद एक उनके सारे दांत गिर रहे हैं और अंत में केवल एक ही बचा है। सपने को लेकर वे अगले दिन ही दरबार में चर्चा के लिए सभागृह पहुंचे।

जब अकबर ने देखा अजीबो-गरीब सपना

सभा में अकबर ने अपने सभी खास दरबारियों को रात के सपने के बारे में बताया और इसके बारे में बताया। सभी ने उन्हें इस सपने को लेकर किसी ज्योतिष से बात करने की सलाह दी। इसके बाद अकबर ने दरबार में विद्वान ज्योतिषियों को बुलाया। अकबर ने उन्हें अपने सपने के बारे में भी बताया और उसका मतलब भी पूछा। सभी ज्योतिषियों ने एक बार में विचार-विमर्श किया और फिर अकबर से कहा कि, जहांपनाह! इस सपने का अर्थ यह है कि, आपके सभी साथी आपसे पहले ही मर जायेंगे।

ज्योतिषियों की बात पर अकबर आया को गुस्सा

ज्योतिषों की बात से अकबर बहुत क्रोधित हो गया और उसने सभी ज्योतिषों को दरबार से जाने का आदेश दे दिया। जब सभी ज्योतिषी चले गये तब अकबर ने अपनी खाँसी बीरबल को बुलाया। उन्होंने बीरबल को अपने सपने के बारे में भी बताया और कहा कि, इस सपने का मतलब क्या है।

बात विधि सही

बीरबल ने कहा, हुजूर! मेरे खाते से आपके सपने का मतलब यह है कि, आपके सभी रिश्तेदारों की उम्र सबसे लंबी होगी और आप सभी से अधिक समय तक जीएंगे। बीरबल की बात सुनकर अकबर बहुत प्रसन्न हुए। दरबार में मौजूद सभी दर्शनार्थी लगे कि, बीरबल ने भी तो ज्योतिषों की ही बात बताई, फिर भी अकबर इतना खुश क्यों हो गए। तीसरे में बीरबल ने दरबारियों से कहा कि, देखो जो बात थी, बस देखने का तरीका अलग था। इसलिए किसी भी बात को हमेशा सही तरीके से सामने रखना चाहिए, तभी वह बात सही तरीके से सीखनी चाहिए।

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अस्वीकरण: यहां संस्थागत सूचनाएं सिर्फ और सिर्फ दस्तावेजों पर आधारित हैं। यहां यह जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह के सिद्धांत, जानकारी की पुष्टि नहीं होती है। किसी भी जानकारी या सिद्धांत को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।

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Umesh Solanki

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