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Israel Palestine Conflict: गाजा में इजरायली हमलों के देखते हुए अमेरिका के एक अहम सहयोगी जॉर्डन ने इजरायल से अपना राजदूत वापस बुला लिया है. साथ ही जॉर्डन ने इजरायल के राजदूत को अपने देश से बाहर रहने के लिए कहा है. न्यूज एजेंसी एपी ने यह जानकारी दी है.

जॉर्डन के उप प्रधानमंत्री अयमान अल-सफादी ने कहा कि राजदूतों की वापसी गाजा में मानवीय तबाही के मुद्दे से जुड़ी है. जॉर्डन ने 1994 में इजरायल के साथ एक शांति समझौते पर हस्ताक्षर किए थे. ऐसा करने वाला जॉर्डन मिस्र के बाद दूसरा अरब देश था.

शरणार्थी शिविर पर दूसरे दिन भी हमले का दावा

एक तरफ हमास के खिलाफ इजरायल की सैन्य अभियान तेजी पकड़ रहा तो वहीं संयुक्त राष्ट्र और कई देश संघर्ष विराम का आह्वान कर रहे हैं.

न्यूज एजेंसी एपी की रिपोर्ट में हमास शासन के हवाले से बताया गया है कि इजरायली लड़ाकू विमानों ने लगातार दूसरे दिन गाजा सिटी के पास एक शरणार्थी शिविर में अपार्टमेंट ब्लॉकों को निशाना बनाया, जिससे कई लोगों की मौत हो गई और कई घायल हो गए. मरने वालों की सटीक संख्या अभी सामने नहीं आई है. 

वहीं, अलजजीरा की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि गाजा के जबालिया शरणार्थी शिविर पर फिर से हमला किया गया. मंगलवार (31 अक्टूबर) को जबालिया शरणार्थी शिविर पर हमले की रिपोर्ट में 50 लोगों के मारे जाने की बात कही गई थी.

इजरायल-हमास जंग में अब तक कितने लोगों की मौत?

हमास और इजरायल की जंग में अब तक दोनों पक्षों को मिलाकर मरने वालों का आंकड़ा 10 हजार को पार कर गया है. अलजजीरा की रिपोर्ट के मुताबिक, 7 अक्टूबर से गाजा में इजरायली हमलों में 8,796 फिलिस्तीनी मारे गए हैं. हमास के हमलों में इजरायल में 1,400 से ज्यादा लोगों की जानें गई हैं. न्यूज एजेंसी एपी के मुताबिक, कब्जे वाले वेस्ट बैंक में हिंसा और इजरायली रेड में 122 से ज्यादा फिलिस्तीनी मारे गए हैं.

यह भी पढ़ें- ‘वह इतना खून फेंक रहा था…’, हमास के हमले के बाद इजरायली जेल में फिलिस्तीनी बंदियों पर यातना, रिपोर्ट में दावा

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Umesh Solanki

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