[ad_1]

आज दुनिया आधुनिक हो गई है, शरीर में हो रहे किसी भी बदलाव का तुरंत पता चल जाता है। लेकिन आज से कई साल पहले जब विज्ञान इतना आधुनिक नहीं था, तब शरीर की जांच के लिए अध्ययन नहीं हुआ था, तब इनके बारे में पता चला था। जब बात फाइनल के टेस्ट की हो तो मामला और भी गंभीर हो जाता है। आज आपके पास ऐसे कई किट मौजूद हैं जो कुछ ही मिनटों में बताते हैं कि आप प्रेग्नेंट हैं या नहीं, लेकिन आज से कुछ सौ साल पहले ऐसी सुविधा नहीं थी। टैब के चयन का टेस्ट जिस विधि से किया गया था, अगर आप उसके बारे में सुन रहे हैं तो हैरान हो जाएंगे।

आटा और जौ टेस्ट

मेंटल फ्लॉस में शापी एक खबर के, 1350 के आस-पास के इजिप्टी में महिलाओं की भर्ती के परीक्षण के अनुसार जिन वेंट का उपयोग किया गया था, उनमें विवरण और जौ का बड़ा महत्व था। दरअसल, इन दाऊ की मदद से इस व्यक्ति के बच्चे के लिंग के बारे में भी पता कर लिया था। यानी इस एस्ट्रो की मदद से इजिप्ट के लोगों को पता चल गया था कि गर्भवती महिला के गर्भ में लड़का है या लड़की।

इसे आसान भाषा में ऐसे समझें कि 1350 ईसा पूर्व के आसपास जब इजिप्ट के लोगों को महिलाओं के समूह के बारे में पता चला था तो वहां के मेडिकल शास्त्र ऐसी महिलाओं को जौ और विवरणों के नमूने पर सोने के लिए कहा जाता था। यह डायनासोर कई दिनों तक प्रकट हुआ था, इसके बाद अगर नमूनों के अवशेषों से पता चला तो माना जाता था कि लड़की होगी और अगर जौ के अवशेषों से पिंड निकला था तो माना जाता था कि लड़का पैदा होगा। वहीं अगर कुछ दिनों तक इन नमूनों पर पेशाब करने के बाद भी कोई बीज बंद नहीं हुआ तो मान लिया गया कि महिला गर्भवती नहीं है।

पेज से थे टेस्ट

इजिपियाई लोगों की तरह ग्रीक लोगों के भी कुछ तरीके थेप्रोग्राम मदद से वो पता लगाएं कि उनकी महिलाएं गर्भवती हैं या नहीं। हालाँकि, इनका तरीका इजिप्सियन लोगों से बिल्कुल अलग और खतरनाक था। असल में, इजिपियाई लोग क्लैक चेक करने के लिए एक प्याज लेते थे, उसे छीनते थे और फिर जिस महिला की क्लैक चेक करना हो, उसकी वजाइना में कहा जाता था। रात भर ये प्याज वजाइना में रहती है और दूसरे दिन अगर महिला के मुंह से प्याज की स्मेल आती है तो मान लिया जाता है कि महिला प्रेग्नेंट नहीं है और अगर दूसरे दिन ओंज की स्मेल मुंह से नहीं आती है तो इसका मतलब है कि महिला प्रेग्नेंट है।

इसके पीछे का विज्ञान जब आपने देखा तो आपको पता चला कि वो ऐसा क्यों करते थे। दरअसल, जब कोई महिला गर्भवती होती है तो उसका गर्भाशय बंद हो जाता है और प्याज की गंध मुंह तक नहीं पहुंच पाती। जबकि, जब कोई महिला गर्भवती नहीं होती थी तो उसका गर्भाशय खुल जाता था और उसे प्याज की गंध आती थी, जिसके जरिए मुंह तक पहुंच जाती थी। हालाँकि, ये सभी चीजें पुरानी हैं और इनका आज भी उपयोग खतरे से खाली नहीं है। इसिलिए अपने घर की गलती से भी इन स्कूल की प्रैक्टिस ना करें।

ये भी पढ़ें: ये भारतीय है इतिहास का सबसे अमीर बिजनेसमैन, ब्रिटिश और मुगलों को भी दिया था कर्ज

नीचे स्वास्थ्य उपकरण देखें-
अपने बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) की गणना करें

आयु कैलकुलेटर के माध्यम से आयु की गणना करें

[ad_2]

Source link

Umesh Solanki

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *